वचन
(रघुवंशनाथम् भाग-1) - BEST SELLER
INR 599
‘वचन’ ईशान महेश द्वारा सृजित महाकाव्यात्मक उपन्यास श्रृंखला ‘रघुवंशनाथम्’ का पहला भाग है। उपन्यास का आरंभ दशरथ की युवावस्था के एक अति संवेदनशील घटनाक्रम से होता है। इसकी कथा विश्वामित्र के द्वारा राम को राक्षसों से रक्षा के लिए दशरथ से माँगे जाने और राम द्वारा राक्षसों से यज्ञ की रक्षा तथा ताड़का वध पर केंद्रित है। विश्वामित्र, राम का बहुत बारीकी से निरीक्षण परीक्षण कर रहे हैं और राम को उपयुक्त पात्र के रूप में देखने के बाद वे उनको अतीन्द्रीय रूप से दिव्यास्त्र प्रदान करते हैं। वे राम को शक्ति संतुलन को स्थापित करनेवाले एक वीर और धीर योद्धा के रूप में देख रहे हैं।
सीता स्वयंवर के प्रसंग को इसमें वास्तविक तथा बहुत ही रोचक रूप में दिखाया गया है। इस प्रसंग को पढ़ने के बाद पाठक के लिए दिव्य अस्त्रों के संबंध में जानकारी का एक नया ही द्वार खुलता है।उपन्यास के अंत में कैकेयी के द्वारा दशरथ से अपने दो वरों का माँगना और उन वरों को सुनकर दशरथ की मार्मिक मन;स्थिति को बहुत ही सूक्ष्म तल पर उकेरा गया है। कुल मिलाकर ‘वनवास’ पाठक को एक ऐसे राम के निकट लाकर खड़ा कर देता है, जिसकी कथा तो पारंपरिक है; किंतु राम का इस कोण से देखा जाना बिल्कुल ही नया अनुभव है।
पुस्तक या पुस्तकों की राशि ईशान ध्यान मंदिर में अर्पित करने के बाद आप अपना निम्नलिखित विवरण हमें भेज दीजिए…⤵️
अपना नाम : _____________
घर का पता : _____________
(पिन कोड सहित)
फ़ोन : _____________
FREE DELIVERY सहित यथाशीघ्र आपके पते पर कूरियर पहुँच जाएगा। कूरियर भेजने के बाद आपको सूचित किया जाएगा। 🚚📚
Online Payment💳
Paytm/GPay📲
8130474656
UPI IDs: ⤵️
anhtshrm@oksbi
anhtshrm@okhdfcbank