राघव कृपा

जा पर कृपा राम की

(शबरी की गाथा)


लेखक: ईशान महेश

आध्यात्मिक उपन्यास का संस्कृत संस्करण

(अनुवादक: डॉ. अभय सिंह)

राघव कृपा – MRP Rs. 399

Available @ Rs. 251

जा पर कृपा राम की (शबरी की गाथा)

शबरी हो जाना असाधारण और दिव्य घटना है। ‘सबूरी’ शब्द का जन्म शबरी से हुआ है, जिसका अर्थ है सब्र और संतोष के साथ मौन प्रतीक्षा । जब भीतर की चेतना शबरी के समान हो जाती है; तब राम स्वयं पैदल चलकर आते हैं। जिसने अपने हृदय की धरती को राम की प्यास से भर लिया है; वहाँ राम जलधर बनकर बरस जाते हैं।